Jharkhand News: झारखंड में JJMP के तीन नक्सली ढेर, जंगल में हुई मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने मार गिराया Jharkhand News: झारखंड में JJMP के तीन नक्सली ढेर, जंगल में हुई मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने मार गिराया Bihar Crime News: बिहार में CSP संचालक से लूटपाट का खुलासा, दो बदमाश गिरफ्तार, 5.35 लाख बरामद Bihar Crime News: बिहार में CSP संचालक से लूटपाट का खुलासा, दो बदमाश गिरफ्तार, 5.35 लाख बरामद नितिन गडकरी के सड़क सुरक्षा अभियान की भट्ठा बिठाने में जुटे बिहार के 'ऑटोमेटेड फिटनेस सेंटर्स', फोटो से हो रहा ऑटोमेटेड घोटाला ? परिवहन विभाग की जांच टीम को संचालक दिखा रहे ठेंगा Bihar Crime News: पेपर लीक के मास्टरमाइंड संजीव मुखिया समेत 55 आरोपी की संपत्ति होगी जब्त, EOU ने ED को भेजा प्रस्ताव Bihar Crime News: पेपर लीक के मास्टरमाइंड संजीव मुखिया समेत 55 आरोपी की संपत्ति होगी जब्त, EOU ने ED को भेजा प्रस्ताव Bihar Politics: ‘घर में बैठकर पहलवानी कर रहे हैं RJD नेता’ लालू यादव पर उपेंद्र कुशवाहा का पलटवार Bihar Crime News: सनकी पति ने धारदार हथियार से पत्नी का गला रेता, संपत्ति के लिए बन गया हत्यारा Bihar Crime News: सनकी पति ने धारदार हथियार से पत्नी का गला रेता, संपत्ति के लिए बन गया हत्यारा
31-Mar-2025 08:07 AM
By First Bihar
Gita Updesh : जब कुरुक्षेत्र की रणभूमि पर अर्जुन का हौसला टूटने लगा था, तब भगवान श्रीकृष्ण ने उन्हें न सिर्फ गीता का ज्ञान दिया, बल्कि अपने विराट रूप से जीवन का असली मोल भी समझाया। यह गीता कोई साधारण किताब नहीं, बल्कि एक ऐसा जीवन दर्शन है, जो हर मुश्किल में रास्ता दिखाती है। तो आइए, जानते हैं कि श्रीकृष्ण की ये अमूल्य सीखें हमें भ्रम से कैसे बचाती हैं और जिंदगी को बेहतर बनाती हैं।
मन पर काबू, भ्रम से मुक्ति
श्रीकृष्ण गीता में कहते हैं कि जिंदगी की हर जंग पहले मन में लड़ी जाती है। अगर मन बेकाबू है, तो कोई भी काम पूरा नहीं हो सकता। अर्जुन को समझाते हुए वे कहते हैं कि शांत और स्थिर मन ही सफलता की कुंजी है। क्रोध को वे सबसे बड़ा दुश्मन बताते हैं, जो बुद्धि को खा जाता है और इंसान को भटका देता है। रोज थोड़ा ध्यान करें, गहरी साँस लें - और देखें कि आपका मन कितना साफ होता है।
अज्ञानता है भ्रम का जड़
कभी-कभी हम जो देखते हैं, उसे सच मान लेते हैं, लेकिन श्रीकृष्ण कहते हैं कि अज्ञानता ही भ्रम का सबसे बड़ा कारण है। बिना ज्ञान के हम हर चीज को गलत नजरिए से देखते हैं। सही-गलत का फर्क मिट जाता है, और हम उलझन में फँस जाते हैं। किताबें पढ़ें, अनुभवी लोगों से सीखें, और अपने आसपास की दुनिया को समझें। जितना ज्ञान बढ़ेगा, भ्रम उतना ही कम होगा।
मोह से दूरी, दुख से आजादी
श्रीकृष्ण का एक और गहरा उपदेश है, अति लगाव इंसान को बर्बाद करता है। किसी चीज या इंसान से जरूरत से ज्यादा मोह हमें कमजोर बना देता है। यह मोह क्रोध को जन्म देता है, पीड़ा लाता है, और हमें अपने कर्तव्य से भटका देता है। अर्जुन को भी अपने रिश्तेदारों से लगाव ने युद्ध से पीछे हटा दिया था। लेकिन श्रीकृष्ण ने समझाया कि कर्तव्य सबसे ऊपर है।
कर्म करो, फल की चिंता छोड़ो
गीता का सबसे मशहूर उपदेश है, अपने कर्म पर ध्यान दो, फल की उम्मीद मत करो। यह सुनने में आसान लगता है, लेकिन अमल करना मुश्किल है। हम अक्सर सोचते हैं कि मेहनत का नतीजा क्या होगा, और यही सोच हमें भ्रम में डालती है। श्रीकृष्ण कहते हैं कि कर्म करना तुम्हारे हाथ में है, परिणाम नहीं। भ्रम से बचने के लिए कर्म को अपना दोस्त बनाओ।
आत्मा को पहचानो
श्रीकृष्ण अर्जुन को बताते हैं कि हमारा असली रूप हमारी आत्मा है, जो कभी नष्ट नहीं होती। शरीर बदलता है, हालात बदलते हैं, लेकिन आत्मा स्थिर रहती है। जब हम यह समझ लेते हैं, तो छोटी-मोटी परेशानियाँ हमें डिगा नहीं पातीं। भ्रम तब पैदा होता है, जब हम खुद को सिर्फ शरीर मानते हैं और उसकी जरूरतों में उलझ जाते हैं। रोज थोड़ा आत्मचिंतन करें, अपनी भीतरी ताकत को पहचानें, और देखें कि जिंदगी कितनी आसान लगने लगती है।