ब्रेकिंग न्यूज़

Bihar Teacher News: शिक्षा विभाग ने जारी किए 825 करोड़ रू, शिक्षकों के खाते में जाएगी राशि.... Bihar Education News: शिक्षा विभाग की महिला IAS अफसर कल से छुट्टी पर, इस अधिकारी को मिला जिम्मा.... BIHAR POLICE : पटना जिले में इस जगह STF और अपराधियों के बीच मुठभेड़, जमकर चली गोलियां;इलाके में हडकंप K.K Pathak : IAS केके पाठक का बढ़ा कद, बिहार से जाते ही केंद्र में मिली बड़ी जिम्मेदारी, PM मोदी के साथ करेंगे यह काम Mohan bhagwat meet modi: दिल्ली में अचानक क्यों PM मोदी से मिलने सरसंघचालक मोहन भागवत, पढ़िए यह खबर BIHAR TEACHER NEWS : नेतागिरी करने वाले गुरु जी पर होगा बड़ा एक्शन, ACS एस सिद्धार्थ ने DEO को लिखा लेटर kamala persad bissessar : बिहार की बेटी ने विदेश में बढ़ाया देश और राज्य का मान, अब एक बार फिर बनने जा रहे प्रधानमंत्री; जानिए क्या है नाम IAS Sanjeev Hans: जेल में बंद IAS संजीव हंस को लेकर एक और बड़ा खुलासा, रामविलास पासवान के PS रहते किया था यह बड़ा कांड Bihar Weather:भीषण गर्मी में ठंड का एहसास! जानिए बिहार में कबतक रहेगा ऐसा मौसम Milk Price Hike: आम आदमी को बड़ा झटका, इस दिन से बढ़ा दिए गए दूध के दाम, अब इतना हुआ भाव

बिहार के सरकारी अस्पताल में भारी लापरवाही: बिजली कटने के बाद स्टार्ट नहीं किया जेनरेटर, ऑक्सीजन के अभाव में गई नवजात की जान

बिहार के सरकारी अस्पताल में भारी लापरवाही: बिजली कटने के बाद स्टार्ट नहीं किया जेनरेटर, ऑक्सीजन के अभाव में गई नवजात की जान

12-Sep-2024 02:40 PM

By First Bihar

BHAGALPUR: बिहार के सरकारी अस्पतालों की हालत किसी से छीपी नहीं है। अक्सर सरकारी अस्पतालों की लापरवाही के कारण लोगों की जान जाने की खबरें सामने आती रही हैं। ताजा मामला भागलपुर से सामने आया है, जहां ऑक्सीजन के अभाव में एक नवजात बच्चे की जान चली गई। अस्पताल में ऑक्सीजन तो उपलब्ध थी लेकिन बिजली कटने के आधे घंटे के बाद भी जनरेटर स्टार्ट नहीं किया गया, जिसके कारण तड़प-तड़पकर उसकी मौत हो गई।


दरअसल, पूरा मामला नवगछिया सामुदायिक अस्पताल रंगरा का है। बताया जा रहा है कि मधेपुरा के रहने वाले मो. सऊद आलम अपनी पत्नी को प्रसव पीड़ा के बाद उसे लेकर रंगरा सामुदायिक अस्पताल पहुंचे थे। बच्चे के जन्म लेने के बाद उसे ऑक्सीजन लगाया गया था। इसी बीच अचानक बिजली कट गई। बिजली कटने के बाद बच्चे को ऑक्सीजन की सप्लाई रूक गई। परिजनों ने अस्पताल में मौजूद स्वास्थ्यकर्मियों से जेनरेटर चालू करने की गुजारिश की लेकिन किसी ने उनकी बात नहीं सुनी।


उधर, ऑक्सीजन नहीं मिलने के कारण बच्चे की तबीयत बिगड़ती चली गई। जनरेटर को चलाने वाला कर्मी अस्पताल में मौजूद नहीं था। बाद में जनरेटर में तेल डालने और उसे चालू करने में करीब 20 से 25 मिनट का समय लग गया। इस बीच ऑक्सीजन के अभाव में नवजात की जान चली गई। इसके बाद परिजनों में कोहराम मच गया। परिजनों ने स्वास्थ्यकर्मियों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया।


इस घटना के बाद अस्पताल में लोगों की भारी भीड़ जमा हो गई। गुस्साए परिजनों ने जोरदार हंगामा किया। हंगामें की खबर मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने किसी तरह से मामले को शांत कराया। परिजनों की मांग थी कि अस्पताल प्रशासन और जनरेटर सप्लाई देखने वाले ठेकेदार पर एफआईआर किया जाए ताकि भविष्य में ऐसी घटना ना हो। उधर, अस्पताल प्रशासन संसाधनों की कमी का रोना रो रहा है।