ब्रेकिंग न्यूज़

Bihar Co Suspend: नप गए एक अंचल अधिकारी, DM की रिपोर्ट पर राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने किया निलंबित Bihar Politics: रोहिणी आचार्य ने पीएम मोदी को बताया पलायनवादी, पहलगाम हमले पर लालू की लाडली ने खूब सुनाया Bihar Politics: रोहिणी आचार्य ने पीएम मोदी को बताया पलायनवादी, पहलगाम हमले पर लालू की लाडली ने खूब सुनाया Seema Haidar: सीमा हैदर को जाना होगा पाकिस्तान? लोगों के सवालों का नोएडा पुलिस ने दिया जवाब Seema Haidar: सीमा हैदर को जाना होगा पाकिस्तान? लोगों के सवालों का नोएडा पुलिस ने दिया जवाब Vande Bharat Express: पटना से न्यू जलपाईगुड़ी जा रही वंदे भारत एक्सप्रेस पर हमला, चलती ट्रेन पर बरसाए पत्थर Vande Bharat Express: पटना से न्यू जलपाईगुड़ी जा रही वंदे भारत एक्सप्रेस पर हमला, चलती ट्रेन पर बरसाए पत्थर Bihar corruption news : लाखों का रिश्वत लेते हुए धराया कार्यपालक अभियंता योजना एवं विकास विभाग का अधिकारी, मचा हडकंप Bihar Assembly Election 2025 : बिहार विधानसभा चुनाव में होगा इस स्पेशल EVM का इस्तेमाल, जानिए क्या है खासियत BIHAR POLICE : सर्विस रिवॉल्वर से गोली चलाना DSP को पड़ा महंगा, अब जाना होगा जेल; DGP को मिला आदेश

वैक्सीन को मंजूरी मिलते ही आपस में भिड़े दो इंस्टीट्यूट, जानें वजह

वैक्सीन को मंजूरी मिलते ही आपस में भिड़े दो इंस्टीट्यूट, जानें वजह

05-Jan-2021 02:07 PM

By

DESK : हाल ही में भारत में कोरोना वायरस की दो वैक्सीन को मंजूरी दे दी गयी है. एक भारत बायोटेक की वैक्सीन और दूसरी सीरम इंस्टीट्यूट की कोविशील्ड जो ऑक्सफ़ोर्ड-एक्स्ट्राजेनेका की वैक्सीन का ही भारतीय संस्करण है. लेकिन अब दोनों वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों के मालिक आपस में भीड़ गए हैं. अदार पूनावाला जो की सीरम इंस्टीट्यूट के CEO हैं उन्होंने भारत कोवैक्सीन को मंजूरी दिए जाने पर आपत्ति जताई थी. अब भारत बायोटेक के कृष्णा एल्ला ने भी सीरम इंस्टिट्यूट पर पलटवार किया है. कृष्णा एल्ला ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि 'हम इस तरह की प्रतिक्रिया की उम्मीद नहीं करते हैं.' 


इसके साथ ही उन्होंने लोगों से वैक्सीन के मुद्दे पर राजनीति नहीं करने का आग्रह किया है. इसके साथ ही अदार पूनावाला का नाम लिए बिना ही एल्ला ने कहा कि 'हम 200 फीसदी ईमानदार क्लिनिकल ट्रायल करते हैं और उसके बाद हमें ऐसी प्रतिक्रिया मिलती है. अगर मैं गलत हूं, तो मुझे बताएं. कुछ कंपनियां हमारी वैक्सीन को पानी की तरह बता रही है. मैं इस बात से इन्कार करता हूं, हमलोग वैज्ञानिक हैं. 


आपको बता दें कि हाल ही में टीवी को दिए गए एक इंटरव्यू में अदार पूनावाला ने कहा था कि अब तक सिर्फ फाइजर, मॉडर्ना और ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन की प्रभावकारिता साबित हुई है और बाद बाकी सभी वैक्सीन सिर्फ पानी की तरह सुरक्षित हैं. एल्ला ने कहा कि अमेरिका और यूरोप ने UK से एस्ट्राजेनेका-ऑक्सफोर्ड वैक्सीन का ट्रायल डेटा लेने से इनकार कर दिया था क्योंकि वो पारदर्शी नहीं था, लेकिन किसी ने भी ऑक्सफोर्ड डेटा पर सवाल नहीं उठाया. 


इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि एस्ट्राजेनेका-ऑक्सफोर्ड के ट्रायल में वैक्सीन शॉट देने से पहले वॉलंटियर्स को पेरासिटामोल टैबलेट दी गई थी और अगर ये उनकी कंपनी ने किया होता तो भारत के रेगुलेटर्स उनके ट्रायल को बंद करा देते. इसके अलावा एल्ला ने कहा, 'हमने वॉलंटियर्स को पेरासिटामोल नहीं दिया है, इसलिए अच्छा या बुरा जो भी रिएक्शन आया, उसे 100 फीसदी उसी तरह लिया गया. इन रिएक्शन को रियल टाइम में कैप्चर किया गया है.'


एल्ला ने एम्स प्रमुख डॉक्टर रणदीप गुलेरिया के बयान को लेकर भी आपत्ति जताई. डॉक्टर गुलेरिया ने कोवैक्सीन का इस्तेमाल अन्य वैक्सीन के बैकअप की तरह करने का सुझाव दिया था. एल्ला ने कहा, 'ये एक वैक्सीन है, बैकअप नहीं. इस तरह के बयान देने से पहले लोगों को अपनी जिम्मेदारी का एहसास होना चाहिए.' एल्ला ने दावा किया कि कई अंतर्राष्ट्रीय समीक्षा पत्रिकाओं में फाइजर के बराबर और अन्य Covid-19 वैक्सीन कैंडिडेट से ज्यादा कोवैक्सीन के रिव्यू पब्लिश हुए हैं. 


उन्होंने कहा कि कोवैक्सीन के तीसरे चरण का ट्रायल अमेरिकी एमएनसी IQVIA द्वारा संभाला जा रहा था. इस चरण के ट्रायल में वैक्सीन की डोज देने के बाद 12 महीने तक वॉलंटियर्स की निगरानी की जाएगी.एल्ला ने कहा, 'एक भारतीय कंपनी के रूप में, भारत बायोटेक एस्ट्राजेनेका या फाइजर जैसी मल्टीनेशनल कंपनी की तुलना में बिना किसी भी बैकअप के अकेले संघर्ष कर रहा है. हम सभी डेटा को पारदर्शी तरीके से रखते हैं. हमने हर समिति के सामने अपना डेटा रखा जिसके बाद हमें मंजूरी मिली.'


एल्ला ने कहा, 'लोग पूछते हैं कि हमारे पास सार्वजनिक डोमेन में कोई डेटा क्यों नहीं है. वास्तव में, हम एकमात्र कंपनी हैं जिसके पांच रिव्यू प्रकाशित हो चुके हैं. पूरी दुनिया में केवल हमारे पास बायो सेफ्टी लेवल 3 प्रोडक्शन सुविधा है. हमें यह कहते हुए गर्व हो रहा है कि अमेरिका और यहां तक कि ब्रिटेन सरकार के पास भी ये सुविधा नहीं है.