कटिहार सदर अस्पताल में सांप के काटने से महिला की मौत, परिजनों ने डॉक्टरों पर लगाया लापरवाही का आरोप कायमनगर में महिला चौपाल: सोनाली सिंह ने सुनीं महिलाओं की समस्याएं, दी माई-बहिन मान योजना की जानकारी सनातन जोड़ो यात्रा के तीसरे चरण में उमड़ा जनसैलाब, राजकुमार चौबे बोले..बक्सर बन सकता है अयोध्या-काशी से भी आगे पैतृक गांव महकार में केंद्रीय मंत्री जीतनराम मांझी ने सादगी से मनाया अपना बर्थडे, हम कार्यकर्ताओं ने दी जन्मदिन की बधाई IRCTC New Rule: 1 अक्टूबर से ऑनलाइन टिकट बुकिंग में बड़ा बदलाव, आधार को लेकर सामने आई नई बात; जानिए.. नया नियम IRCTC New Rule: 1 अक्टूबर से ऑनलाइन टिकट बुकिंग में बड़ा बदलाव, आधार को लेकर सामने आई नई बात; जानिए.. नया नियम बड़हरा से अजय सिंह की पहल पर अयोध्या के लिए रवाना हुआ 16वां जत्था, अब तक 2850 श्रद्धालु कर चुके रामलला के दर्शन Bihar News: बिहार में ससुराल जा रहे युवक की सड़क हादसे में मौत, दो महीने पहले हुई थी शादी Bihar News: बिहार में ससुराल जा रहे युवक की सड़क हादसे में मौत, दो महीने पहले हुई थी शादी Bihar News: बिहार में इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक के टॉपर्स को लैपटॉप देगी सरकार, इंजीनियर्स डे पर मंत्री ने की घोषणा
16-Dec-2023 12:12 PM
By First Bihar
AURANGABAD: अपने पिता लालू प्रसाद को नया जीवन देने वाली रोहिणी आचार्या राजनीति में एक्टिव होने लगी हैं। सियासी गलियारे में इस बात की चर्चा है कि रोहिणी आने वाले लोकसभा चुनाव में काराकाट सीट से चुनावी मैदान में उतर सकती हैं। रोहिणी बीते गुरुवार को पति और भाई तेजप्रताप यादव के साथ अपने ससुराल औरंगाबाद पहुंची और क्षेत्र के लोगों से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने काराकाट से चुनाव लड़ने के संकेत दिए।
दरअसल, लालू प्रसाद की बेटी रोहिणी आचार्या की शादी दाउदनगर के हिच्छन बिगहा में राव रणविजय सिंह के बेटे समरेश सिंह से हुई है। शादी के बाद वे अपने पति के साथ सिंगापुर में रहती हैं। गुरुवार को रोहिणी पति समरेश सिंह और भाई मंत्री तेजप्रताप यादव के साथ अपने ससुराल पहुंची और अपने दिवंगत ससुर राव रणविजय सिंह की स्मृति में आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुईं। इस दौरान रोहिणी ने गरीबों के बीच कंबल बांटा और क्षेत्र के लोगों से मुलाकात की। कयास लगाए जा रहें हैं कि रोहिणी आचार्या आने वाले लोकसभा चुनाव में काराकाट सीट से चुनाव लड़ सकती है, इसके लिए ही वे अपने ससुराल औरंगाबाद पहुंचीं और वहां क्षेत्र की जनता से मुलाकात की है।
काराकाट लोकसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ने के सवाल पर रोहिणी ने पहले तो इनकार किया लेकिन जब यह कहा गया कि यदि आप काराकाट की सांसद रहेंगी तो इस इलाके का विकास तेज गति से होगा, इस पर उन्होंने कहा कि, ‘अभी तक मैं अपने मां और पिताजी की सुन रही हूं लोकिन जनता कहेगी तो उनकी भी सुन सकती हूं’। उन्होंने कहा कि फिलहाल वे जमीन पर कोई ऐसा काम नहीं कर रही हैं तो टिकट कैसे मिलेगा, जनता के बीच रहेंगी तब न टिकट मिलेगा।
बता दें कि पिछले लोकसभा चुनाव में काराकाट सीट से जेडीयू के महाबली सिंह ने जीत दर्ज की थी। इससे पहले 2014 में आरएलजेडी अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा यहां से सांसद चुने गए थे। कुशवाहा ने 2014 के लोकसभा चुनाव में राजद की कांति सिंह को शिकस्त दी थी। फिलहाल काराकाट सीट जेडीयू के पास है। ऐसे में आरजेडी की नजर अपनी पुरानी सीट पर है। संभावना जताई जा रही है कि अगर रोहिणी आचार्या काराकाट सीट से चुनाव लड़ने को तैयार होंगीं तो जेडीयू के अपनी सीटिंग सीट छोड़नी पड़ सकती है।