जेब में फटा iPhone-13, गंभीर रूप से झुलसा युवक, Apple की सुरक्षा पर उठे सवाल मोतिहारी में युवक की चाकू मारकर हत्या, परिजनों में मचा कोहराम, SIT का गठन RCBvsRR: “जागो, विपक्षी टीम के गेंदबाजों को कूटो और सो जाओ”, इस सीजन कोहली के पांचवे अर्धशतक के बाद सामने आई फैंस की प्रतिक्रियाएं पहलगाम हमले का मामला पहुंचा अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार उच्चायोग के पास, पाकिस्तान के खिलाफ कार्रवाई की मांग BSF Jawan Captured: गलती से जीरो लाइन को पार कर गया BSF जवान, पाक रेंजर्स ने हिरासत में लिया चली समीयाना में आज तोहरे चलते गोली..बर्थडे पार्टी में कट्टा लहराकर युवक-युवतियों ने किया डांस, वीडियो हो गया वायरल भारत की कार्रवाई के खिलाफ पाकिस्तान ने उठाए कदम, एयरस्पेस और वाघा बॉर्डर को किया बंद Pahalgam Terror Attack: ढाबे वाले की गलती ने बचा ली 11 लोगों की जान, पहलगाम हमले में बाल-बाल बचे पर्यटकों की आपबीती Bihar Politics: VIP ने सुपौल के छातापुर में चलाया सघन जनसंपर्क अभियान, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष संजीव मिश्रा हुए शामिल महागठबंधन की बैठक में CM फेस पर फिर चर्चा नहीं: तेजस्वी को जवाब नहीं सूझा, कहा-पिछली ही बैठक में सब तय हुआ था, होशियार लोग समझ रहे हैं
08-Apr-2025 03:09 PM
By First Bihar
Clock Tower bihar sharif: हर महीने बिहार के अलग अलग जिले से तरह तरह कि घटनाएं सामने निकल कर आतीं हैं ,कभी पूल टूटने की तो कभी रेलवे ट्रैक चोरी होने का मामला सामने आता है ,अब बिहारशरीफ के स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत बनाए गए क्लॉक टावर को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। सोशल मीडिया पर यह कहा जा रहा है कि घड़ी उद्घाटन के 24 घंटे के अंदर ही बंद हो गई और उसकी सुइयाँ अलग-अलग समय पर अटक गईं। दावा किया गया है कि टावर के भीतर से चोर तांबे की कीमती तारें चुरा ले गए, जिससे घड़ी काम नहीं कर पा रही है।
नगर आयुक्त दीपक कुमार मिश्रा के अनुसार, अभी टावर का निर्माण कार्य पूरा नहीं हुआ है और इसका उद्घाटन भी नहीं हुआ है। प्रगति यात्रा के दौरान घड़ी को केवल अस्थायी रूप से चालू किया गया था, लेकिन बाद में अज्ञात लोगों ने वायरिंग चुरा ली थी ।
आपको बता दे कि कहा जा रहा है की इसको बनाने में 40 लाख रुपये की लागत आई है, हालाँकि अधिकारीयों का कहना है कि इसमे करीब 20 लाख का खर्च आया है . टावर नाला रोड प्रोजेक्ट के अंतर्गत बन रहा है, जो मछली मंडी को मुगल कुआं से जोड़ने का कार्य करेगा। ये प्रोजेक्ट 3 साल पहले अतिक्रमण हटाने के लिए शुरू कि गयी थी | इस घटना ने सरकारी परियोजनाओं की निगरानी और सुरक्षा व्यवस्था पर फिर से सवाल उठा दिए हैं।